अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण ज़ोरों पर, दो से तीन तिहाई खुदाई का काम हुआ पूरा

अयोध्या में बनने वाले श्रीराम मंदिर निर्माण के लिए जिस तरह की तैयारियां हैं, उससे यही लग रहा है कि, तय समय के अनुसार भगवान श्रीराम का मंदिर बनकर तैयार हो जायेगा. तैयारियों के चलते नीव की खुदाई का दो से तीन तिहाई काम पूरा हो चुका है. अप्रैल के पहले हफ्ते से खम्बों को खड़ा करने का काम शुरू हो जाएगा. मंदिर निर्माण के मुख्य वास्तुकार आशीष सोमपुरा ने जानकारी देते हुए बताया कि, मंदिर निर्माण के विभिन्न पहलुओं पर सहमति बनने के बाद सम्बंधित अधिकारयों ने भी इस बात की पुष्टि की है. इन सभी प्रमुख कार्यों में मंदिर के ढांचे की स्थिरता, नीव के इस्तेमाल में आने वाली सामग्री पानी और रेत आदि का सही तरीके से आंकलन किया गया है.

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सोमपुरा से प्राप्त जानकारी के अनुसार, साईट पर खुदाई का काम लगभग पूरा हो चुका है. और मिट्टी का परीक्षण किया जा रहा है. ज़मीन में 12 मीटर की गहराई तक नीव में पत्थर के खम्बे बैठाए जायेंगे. नींव भरने का काम मार्च के अंत तक या अप्रैल के पहले हफ्ते में शुरू हो सकता है. मंदिर के बुनियादी निर्माण में लगभग तीन साल का समय लगेगा. जिसके बाद फिनिशिंग और आंतरिक सजावट का कम शुरू हो जायेगा.

जानकारी के अनुसार खुदाई का ये काम जनवरी के मध्य से शुरू हुआ था. संरचना की स्थित सुनिश्चित करने के लिए लगभग 12 मीटर गहरी खुदाई का निर्णय लिया गया था. पिछले साल दिसंबर में हुए प्राथमिक परीक्षण में ये सामने आया था कि, राम मंदिर वजन सहने और भूकंप जैसी स्थितियों को सम्हालने में विफल हुआ है, जिसके चलते विशेषज्ञों ने नई नीति अपनाई, जिसके अंतर्गत नींव में पायी गई, बालू खम्बों को स्थिर रख सके, और मंदिर का भार उठा सके ऐसी व्यवस्था अपनाई गई है. आइआइटी, एनआईटी, एल एंड टी के अलावा देश के बेहतरीन इंजीनियर मंदिर निर्माण की संरचना को अंजाम दे रहे हैं.