केरल के सबसे चर्चित सबरीमाला मंदिर का द्वार सभी भक्तों के लिए खुलने जा रहा है. जानकारी अनुसार दीपावली के बाद सभी भक्त सबरीमाला मंदिर में प्रवेश कर पाएंगे. मौजूदा समय में मंदिर खुला है लेकिन श्रद्धालुओं का प्रवेश वर्जित है.
राज्य के धर्मस्व विभाग के अनुसार 16 से 21 नवंबर तक मंदिर को मासिक पूजा के लिए खोला जाएगा. एक विशेष समिति ने अपने विचार रखे हैं कि मंदिर में भक्तों को आने के लिए अनुमति दे देनी चाहिए. लेकिन उन्हें कोरोना के चलते नियमों का सख्ती से पालन करना होगा.
इस विषय पर सबरीमाला मंदिर के प्रबंधक ने अभी तक कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है. लेकिन खबर है कि मंदिर को नियमों के साथ भक्तों के लिए खोला जाएगा. जैसे मंदिर में प्रवेश से पहले 14 दिन तक क्वारंटीन में रहना होगा और दर्शन करने के बाद भी 10 दिन तक क्वारंटीन में रहना होगा.
नवंबर और दिसंबर सबरीमाला भक्तों के लिए खास होता है. मलयालम कैलेंडर में इन्हें मंडलम् और मकरविलक्कू महीना भी कहा जाता है. इन दो महीनों में विशेष पूजा की जाती है और भक्त अयप्पा स्वामी के दर्शन कर पाते हैं. पिछले साल लगभग 30 लाख लोग दर्शन के लिए आए थे. इस बार कोरोना के चलते इतनी संख्या देखने को नहीं मिलेगी.
विशेष समिति ने दिए हैं ये सुझाव
1.दर्शन के लिए 20 साल से कम और 50 साल से अधिक के लोगों को इजाजत ना मिले।
2.मंदिर में दर्शन से पहले 14 दिन का क्वारंटीन पीरियड आवश्यक हो।
3.दर्शन करने के बाद भी 10 दिन का क्वारंटीन पीरियड हो।
4.मंदिर में एक समय में 5000 लोगों को प्रवेश मिले।
5.मंदिर में रेगुलर कोविड-19 टेस्ट हों।
6.कर्मचारियों पर भी ये नियम लागू हों।
7. प्रमुख पूजाओं के समय 50 लोगों की ही उपस्थिति रहे।
ऑनलाइन अनुमति, वर्चुअल क्यू सिस्टम, प्रसाद और हार-फूल जैसी चीजों की मनाही आदि के भी सुझाव हैं।
विशेष बात
सबरीमाला, अयप्पा स्वामी का मंदिर है। इस मंदिर की महिमा शास्त्रों में भी वर्णित है। कहते यहां भगवान अयप्पा के भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।